बात उन दिनों की है जब मैं अपनी CA की कोचिंग कर रहा था। अपनी ग्रेजुएशन कम्प्लीट करके दिल्ली लक्ष्मी नगर शिफ्ट हो गया था, और वहाँ की ही एक कोचिंग ज्वाइन की थी।
वहाँ जब मैं एडमिशन के लिए गया था, तो एक 25 साल की हॉट भाभी (ट्रिशा) रिसेप्शन पर बैठी थी। वो थी तो शादीशुदा, लेकिन उनका फिगर कमाल का था। 36-28-32 साइज, मिल्की व्हाइट रंग, विद ग्लासेस। वो इतनी क्यूट थी, और उनका फिगर इतना सेक्सी था, कि मैं उनसे बात करने की कोशिश करने लगा। क्लास के बाद उनके पास रिसेप्शन पर कुछ न कुछ बहाना करके चला जाता था।
वो भी काफी टॉकेटिव थी, तो अपने बात शुरू हो गई। मैंने उनको बताया कि मुझे दिल्ली बिल्कुल आहा नहीं लगा। तो वो मुझे दिल्ली में क्या-क्या अच्छा है वो बताने लगी। इस पर हमारी डेली बात होने लगी। वो कोचिंग की सारी डिटेल्स शेयर करती थी, तो मेरे पास अलरेडी उनका व्हाट्सएप नंबर था।
धीरे-धीरे हम लोगों की बात व्हाट्सएप पर भी होने लगी। फिर एक दिन उन्होंने बताया कि वो अपने ससुराल जा रही थी कुछ दिनों के लिए, और मैं उनके व्हाट्सएप वाले नंबर पर मैसेज न करूं।
तो मैंने बोला: अगर मुझे आपसे कुछ पूछना होगा तो?
उन्होंने तुरंत अपना पर्सनल नंबर दे दिया मुझे। इससे मुझे बहुत कॉन्फिडेंस मिला। मैं अब उनको और मैसेजेस करने लगा। ऐसे हम लोग की बात डेली ही होने लगी। मैं उनके बारे में सब कुछ जानना चाहता था। उन्होंने भी मुझे अपने बारे में सब बताया, कि उनकी अरेंज मैरिज हुई थी 2 साल पहले। उनका हसबैंड मर्चेंट नेवी में था, और वो बाहर ही रहता था। वो अपनी छोटी बहन के साथ दिल्ली में रहती थी, और ऐसे ही धीरे-धीरे हम दोस्त बन गए।
जब वो वापस दिल्ली आई, तो मैंने उनसे मिलने के लिए पूछ लिया। मैंने बताया कि कोचिंग में मेरा कोई और दोस्त नहीं बना, और मैं दिल्ली में किसी और को नहीं जानता हूँ। ट्रिशा ने थोड़ा सोचा, लेकिन फिर बोली-
ट्रिशा: ठीक है, शाम को 7.30 बजे मेरी जॉब खत्म होती है। हम लोग V3S मॉल चल सकते हैं साथ में आइस-क्रीम खाने।
मैं बहुत खुश हो गया। मेरी खुशी की कोई सीमा नहीं थी। मैं तैयार होके लक्ष्मी नगर मेट्रो के नीचे उनका वेट करने लगा। वो पिंक कुर्ता और ब्लैक जींस पहनकर आई। क्या कयामत लग रही थी। उनको पहली बार मैंने खुले बालों में देखा था। उनके क्यूट फेस पर बिंदी सूट कर रही थी।
हम लोग साथ में V3S गए। साथ में आइस-क्रीम ली और बैठकर खूब बातें की। ट्रिशा ने बताया कैसे वो अपने हसबैंड के साथ यहाँ आती थी, जब भी उसका हसबैंड (अभिनव) आता था। मुझे सब बहुत अच्छा लग रहा था, कि वो मुझे अपने फेवरेट स्पॉट ले गई।
फिर मैंने अपने हाथ से उसका चश्मा हटाया, और उसके बाल कान के पीछे किए। मैंने बताया कि वो खुले बालों में और बिना चश्मे के ज्यादा अच्छी लगती थी। मैंने सोचा कि कहीं मैं उनको अवकॉर्ड न कर दूँ। लेकिन जब ट्रिशा ने सामने से बोला कि-
ट्रिशा: मतलब ऐसे मैं अच्छी लगती हूँ तुझे। पर खुले बालों में और अच्छी लगती हूँ।
और ये बोलकर वो हँसने लगी। मुझे लगा कि सामने से भी सिग्नल आ रहा था। फिर मैंने भी फ्लर्टिंग शुरू कर दी।
मैंने भी बोला: हाँ आप कैसे किसी को अच्छी नहीं लग सकती हैं? इतनी खूबसूरत हो, मेचर हो, इंडिपेंडेंट हो।
ट्रिशा अचानक ही सैड हो गई। उसके चेहरे से हँसी ही गायब हो गई।
ट्रिशा ने बोला: सब को मैं पसंद नहीं आती हूँ। लोग मुझे अरोगेंट समझते हैं।
मैं भी सामने से पूछने लगा, तो ट्रिशा ने बताया कि उसके ससुराल वाले अच्छे नहीं थे। उनको ट्रिशा का जॉब करना अच्छा नहीं लगता था, और उसका हसबैंड भी कुछ नहीं बोलता था बीच में। ट्रिशा की सास भी काफी सुनती है जब ट्रिशा घर पर होती थी तो। इसलिए वो दिल्ली ही रहती थी। जबकि उसका ससुराल मेरठ था।
फिर मैंने ट्रिशा को कंसोल किया, और पता नहीं कब उसका हाथ मेरे हाथ में था। हम दोनों को पता नहीं चला। फिर जब मुझे ख्याल आया तो भी मैंने अपना हाथ नहीं हटाया। मुझे ट्रिशा को हग करने का मन कर रहा था। पर पब्लिक प्लेस की वजह से मैंने नहीं किया।
10 बज गए बिल्कुल पता ही नहीं चला हम दोनों को। उस दिन हम दोनों ने काफी बातें की, ट्रिशा के ससुराल वालों, और उसके हसबैंड के बारे में। फिर ना चाहते हुए भी हम दोनों अपने-अपने घर चले गए। उस दिन ट्रिशा ने रात में मुझे कॉल की और बताया कि उसे आज मेरे साथ बहुत अच्छा लगा। इतना अच्छा उसे कई सालों में नहीं लगा। मैं भी बहुत खुश था। हमारी बॉन्डिंग जो हो गई थी।
फिर एक दिन संडे को ट्रिशा और मैं साथ में ऐसे ही लक्ष्मी नगर में घूम रहे थे। प्लान पिज्जा और कोल्ड ड्रिंक का था, पर अचानक बारिश शुरू हो गई। फिर मैंने मौके का फायदा उठाते हुए ट्रिशा से पूछा कि-
मैं: बारिश में भीग जाएँगे उससे अच्छा पिज्जा लेकर मेरे फ्लैट चलते हैं।
क्योंकि मेरा फ्लैट 2 मिनट के वॉकिंग डिस्टेंस पर था।
ट्रिशा ने थोड़ा सोचा फिर बोली: ठीक है।
हम दोनों मेरे फ्लैट पर गए। मेरे फ्लैट आकर मैंने फेयरी लाइट्स ऑन की, और रोमांटिक सॉन्ग्स स्पीकर पर बजाने लगा। हम दोनों को वो पिज्जा बहुत अच्छा लगने लगा था। मौका देखते हुए मैंने पूछा-
मैं: बारिश हो रही है। मुझे बारिश में हुक्का बहुत अच्छा लगता है। अगर आपको पीना हो तो मैं हुक्का लगाऊँ?
ट्रिशा ने बताया कि उसने कभी हुक्का ट्राई नहीं किया था। लेकिन वो ट्राई करना चाहती थी। फिर मैंने हुक्का लगाया। बाल्कनी में बारिश, रूम में फेयरी लाइट्स, रोमांटिक सॉन्ग्स, हुक्का, और हम दोनों अकेले। ट्रिशा ने बताया कि अक्सर वो और उसका हसबैंड साथ में बीयर और पिज्जा खाते थे।
लकीली मेरे फ्रिज में बीयर भी थी। क्योंकि मुझे भी बीयर बहुत पसंद है। मैंने ट्रिशा को बोला कि मैं एक सरप्राइज रखा था उसके लिए, वो बस आँखें बंद कर ले। मैं जल्दी से फ्रिज से बीयर की 2 बॉटल्स ले आया, और रूम में लाइट डिम करके हमने हमारी फर्स्ट डेट की।
ट्रिशा बहुत ज्यादा खुश थी। उसने बताया कि वो कभी ऐसे डेट पर नहीं गई थी। उसका हसबैंड बिल्कुल रोमांटिक नहीं था। मैंने भी बात-बात में बोला कि-
मैं: तुझे कोई और हसबैंड देख लेना चाहिए जो तुझे ऐसी रोमांटिक डेट्स पर ले जाए। तू डिजर्व करती है।
और ये बोलकर मैंने उसके हाथ पकड़ लिए। उसने भी मना नहीं किया। फिर मैंने उसको अपने कंधे पर लिटा लिया। मुझे उसके बालों से उसकी खुश्बू आ रही थी, जो मुझे टर्न ऑन कर रही थी। मैंने हिम्मत करके उसको अपने आगे बुलाया, और उसको पीछे से हग कर लिया। ताकि मेरा फेस उसकी नेक पर हो, और मेरा हाथ उसकी चेस्ट के पास हो जाए। उसने बिल्कुल मना नहीं किया।
फिर मैंने और हिम्मत की, और उसको अपने पास खींच लिया। उसकी बॉडी मेरी बॉडी के टच में थी पूरी। मैं समझ गया कि ट्रिशा को भी अच्छा लग रहा था। मैंने अपना हाथ उसके थाई पर रखा, और धीरे-धीरे ऊपर उसके कुर्ते में करने लगा। मैं उसके पेट को टच कर पा रहा था।
उसने मुझे मना नहीं किया, और अपनी आँखें बंद कर ली। तो मैंने उसकी ब्रेस्ट को टच किया। उसने ब्रा पहनी हुई थी। मैंने अंदर हाथ डालकर ब्रा खोल दिया, और उसके बूब्स को दबाने लगा। उसके बूब्स मेरे हाथ में नहीं आ रहे थे, वो इतने बड़े और सॉफ्ट थे। मेरे सॉफ्ट प्रेस करने से धीरे-धीरे ट्रिशा सिस्किया लेने लगी।
फिर बढ़ते समय के साथ उसकी सिस्कियाँ बढ़ने लगी। अपने एक हाथ से मैंने उसके बूब्स पकड़कर, और दूसरे से उसकी जींस खोलने लगा। फिर जींस खोलते ही अपना हाथ उसकी पैंटी के ऊपर ले गया। वो अलरेडी वेट थी। मैंने बिल्कुल टाइम ना वेस्ट करते हुए उसकी वेट पुस्सी को टच करना शुरू किया।
ट्रिशा ने खुद ही अपनी जींस उतारी, तो मैंने भी तुरंत अपना फेस उसकी थाईज के बीच में कर दिया। मैंने उसको पहले बाइट किया इनर थाईज पर। वो चिल्ला दी दर्द से। मैंने फिर उसकी वेट वैजाइना सक करना शुरू किया। उसकी सिस्कियाँ फिर से बढ़ गई। ट्रिशा बोलती रही कि रुको, जस्ट फक मी नाउ, लेकिन मैं अपने आप को उसके वैजाइना से अलग नहीं कर पाया।
फिर मैंने उसको अपने पास खींचकर उसके बूब्स को सक करना शुरू किया। उसके व्हाइट बूब्स पर मैंने इतने लव बाइट्स दिए, जैसे ट्रिशा मेरी ही बीवी हो। मैंने फिर अपनी जींस खोली, और अपना लुंड उसके चूत पर रख दिया। फिर हल्के-हल्के मूव करने लगा।
ट्रिशा जोर-जोर से चिल्लाने लगी: जस्ट फक मी ना।
मैं फाइनली उसके अंदर जाने लगा। उसकी चूत बहुत टाइट थी, और मेरे अंदर करते ही ट्रिशा चीख पड़ी। लेकिन मेरा रुकना कहाँ ही पॉसिबल था। मैं धीरे-धीरे अपनी स्पीड बढ़ाता चला गया, और ट्रिशा के अंदर चला गया। वो अंदर से इतनी नरम, और उसकी वॉर्म्थ इतनी अच्छी थी, कि मुझे खुद को रोकना मुश्किल हो गया।
मैंने अगले 2 घंटे तक ट्रिशा की अच्छे से ली, और उसके अंदर कई बार कम किया। उसने एक बार बस मना किया कि मैं अंदर न करूँ, और एक कंडोम ऑर्डर कर लूँ। लेकिन मैंने उसकी चूत को अपने कम से भरने का मन बना लिया था पहले ही। इसलिए मैं कई बार उसके अंदर आया।
अब शाम के 9 बज गए थे। फिर ट्रिशा तैयार होने लगी। मेरे यहाँ से जाने से पहले ट्रिशा शावर लेने गई। हमने वहाँ भी सेक्स किया, और अब ट्रिशा के पैर काँपने लगे थे। फिर मैंने ट्रिशा को उसके घर के पास ड्रॉप किया।
अगले एक साल तक ऐसे ही ट्रिशा ऑल्टरनेट डेज पर मेरे फ्लैट पर आती थी, और मैं उसकी लेता था। उसने अपने हसबैंड को आज तक ब्लोजॉब नहीं दिया था। लेकिन मुझे वो ब्लोजॉब भी देती थी। उसके हसबैंड के आने के 10 दिन पहले से मैं उसको कोई लव बाइट्स नहीं देता था, और उसके हसबैंड के जाते ही उसको लव बाइट्स से भर देता था।